Mandi Cloudburst: हिमाचल प्रदेश के मंडी शहर में बादल फटने से सोमवार रात भारी नुकसान हुआ है। जेल रोड के साथ लगते नाले ने यहां कहर बरपाया। इसमें 3 लोगों की मौत हो गई।
Flash Floods in Himachal’s Mandi: हिमाचल प्रदेश के मंडी जिले में एक बार फिर बादल फटने से तबाही मची है। बारिश के कारण नदी नाले उफान पर हैं। स्थानीय लोगों में डर का माहौल बना हुआ है। बता दें कि बादल फटने के कारण फ्लैश फ्लड की घटना में मंगलवार को तीन लोगों की जान चली गई। बता दें कि पिछले दो दिन से हिमाचल प्रदेश के कई इलाकों में लगातार बारिश हो रही है। मंडी में भी भारी बारिश के कारण नदी-नाले उफान पर हैं। इसी बीच फ्लैश फ्लड की घटना हुई।
फिलहाल जिला प्रशासन की टीमें मौके पर मौजूद हैं। राहत एवं बचाव कार्य जारी है। मंडी जिले में बीते कई घंटे से लगातार मूसलाधार बारिश का दौर जारी है। लगातार हो रही बारिश से मलबा हटाने और राहत कार्यों में भारी परेशानी आ रही है। जानकारी के मुताबिक, मंडी के जेल रोड इलाके में अपनी गाड़ियों को निकालने के लिए कुछ लोग नाले के पास पहुंचे थे। इसी दौरान वे फ्लैश फ्लड की चपेट में आ गए। दो लोगों के शवों को निकाला जा चुका है, जबकि एक व्यक्ति का शव गाड़ियों के बीच फंसे होने की संभावना है।
रेस्क्यू और सर्च ऑप्रेशन जारी
सैलाब के कारण आए मलबे में 60 से अधिक गाड़ियों के दबने और बहने की सूचना मिली है। एनडीआरएफ, पुलिस, अग्निशमन, होमगार्ड के जवान मौके पर हैं। रेस्क्यू और सर्च ऑप्रेशन जारी है। सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने मृतकों के परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त की है।
इसी के साथ पूर्व सीएम जयराम ठाकुर और विधायक अनिल शर्मा मौके पर लोगों से मिलने पहुंचे और हालात का जायजा लिया। बाढ़ के कारण जनजीवन ठप सा हो गया है। सबसे ज्यादा नुकसान जेल रोड, जोनल अस्पताल मार्ग और सैंण क्षेत्र में हुआ है।
कई रास्तें बंद
भूस्खलन से कीरतपुर मनाली फोरलेन और पठानकोट मंडी राष्ट्रीय राजमार्ग बंद हो गया है। चंडीगढ़-मनाली एनएच पर पर 4 मील, 9 मील, दवाड़ा, झलोगी समेत कई स्थानों पर लैंडस्लाइड होने से सड़क पर यातायात बंद हो गया है। वहीं, पठानकोट-मंडी एनएच पर पद्धर से लेकर मंडी तक कई जगहों पर भूस्खलन की घटनाएं सामने आई हैं।
राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एसडीएमए) और राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र (एसईओसी) के अनुसार, 28 जुलाई की शाम तक राज्यभर में 200 सड़कें अवरुद्ध रहीं। सड़कों पर कई फीट मलबा नजर आ रहा है और कई गाड़ियां इसमें दबी हुई नजर आ रही हैं. राहत कार्य शुरू हो चुका है और जेसीबी मशीन मौके पर पहुंच चुकी हैं.
20 जून से 28 जुलाई तक हिमाचल प्रदेश में 160 से अधिक लोगों की जान जा चुकी है। 90 मौतें सीधे तौर पर भूस्खलन, फ्लैश फ्लड और बादल फटने जैसी घटनाओं के कारण हुईं। आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, बाकी 74 मौतें इसी अवधि के दौरान सड़क दुर्घटनाओं में हुईं। मंडी शहर के विक्टोरिया पुल के पास लैंडस्लाइड भी हुआ है।
कोल-डैम से छोड़ा पानी, पंजाब में अलर्ट
हिमाचल के बिलासपुर में सतलुज नदी पर बने कोल-डैम से आज फिर सुबह 6.30 बजे पानी छोड़ा गया। इससे नदी का वाटर लेवल 4 से 5 मीटर बढ़ा है। इसे देखते हुए पंजाब के लोगों को भी सतर्क रहने की एडवाइजरी जारी की गई है।